नई दिल्ली। भारत-ईरान और आर्मेनिया के बीच दूसरा त्रिपक्षीय परामर्श गुरुवार को राष्ट्रीय राजधानी नई दिल्ली में हुआ। पीएआई प्रभाग के संयुक्त सचिव जे.पी. सिंह ने भारत की ओर से चर्चा का नेतृत्व किया। वहीं, ईरान के प्रतिनिधिमंडलों का नेतृत्व क्रमशः ईरान के इस्लामी गणराज्य के विदेश मंत्रालय के दक्षिण एशिया डिवीजन के महानिदेशक हाशेम अशजा ज़ादेह ने किया। जबकि आर्मेनिया की ओर से आर्मेनिया गणराज्य के विदेश मंत्रालय के एशिया-पैसिफिफ विभाग के प्रमुख अनाहित कारपेटियन ने चर्चा में भाग लिया।
इस दौरान अप्रैल 2023 में येरेवन में आयोजित पिछले त्रिपक्षीय परामर्श के परिणामों के आधार पर, तीनों पक्षों ने कनेक्टिविटी पहल, बहुपक्षीय मंचों में भागीदारी और क्षेत्रीय विकास पर चर्चा की। उन्होंने लोगों से लोगों के संबंधों को मजबूत करते हुए व्यापार, पर्यटन और सांस्कृतिक आदान-प्रदान को बढ़ावा देने के तरीकों की भी खोज की।
परामर्श के दौरान, प्रतिनिधिमंडलों ने आईएनएसटीसी के तहत घनिष्ठ सहयोग को बढ़ावा देने की आवश्यकता पर जोर दिया और इस संबंध में चाबहार बंदरगाह की भूमिका पर भी प्रकाश डाला गया। अर्मेनियाई पक्ष ने प्रतिभागियों को अपनी कनेक्टिविटी पहल “द क्रॉसरोड्स ऑफ़ पीस” के बारे में जानकारी दी। तीनों पक्षों ने प्रारूप के तहत निरंतर सहयोग के लिए अपनी प्रतिबद्धता दोहराई। इस बात पर सहमति हुई कि त्रिपक्षीय परामर्श का अगला दौर पारस्परिक रूप से सुविधाजनक तारीख और समय पर ईरान में आयोजित किया जाएगा।