लखनऊ। सीजेएम कोर्ट लखनऊ ने सेवानिवृत्त आईपीएस और आजाद अधिकार सेना के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमिताभ ठाकुर को नजरबंद करने के मामले में लखनऊ पुलिस से जवाब मांगा है। लखनऊ को नका थाने को 13 जनवरी को अपना जवाब कोर्ट के समक्ष पेश करना है।
दरअसल,गोरखपुर के एक मामले में एक सिपाही को पीटा गया था। इस मामले में एफआईआर दर्ज नहीं की गई थी। एफआईआर न होने पर अमिताभ ठाकुर पीड़ित से मिलने गए थे। इस दौरान अमिताभ ठाकुर को पुलिस ने नजरबंद किया था।
अमिताभ का आरोप था कि उन्हें गैरकानूनी ढंग से 15 अक्टूबर 2024 को सिंचाई डाक बंगले में नजर बंद कर दिया गया। अमिताभ ठाकुर ने अपनी शिकायत में कहा था कि जब वे उन्होंने कहा कि यह सब उच्चस्तरीय राजनीतिक इशारे पर किया गया था। सीजीएम लखनऊ ऋषिकेश पांडे ने थाना प्रभारी नाका से 13 जनवरी 2025 तक जवाब मांगा है।